रुद्रप्रयाग: पंचकेदारों में प्रतिष्ठित तृतीय केदार तुंगनाथ मंदिर के कपाट आज पूर्वाह्न 11 बजे शुभ मुहूर्त पर विधि-विधान से शीतकाल के लिए बंद हो गए. पांच सौ से अधिक श्रद्धालु कपाट बंद होने के साक्षी बने. इस यात्रा वर्ष में पौने दो लाख श्रद्धालु तुंगनाथ पहुंचे.
कपाट बंद होने के बाद भगवान तुंगनाथ की उत्सव डोली ने स्थानीय वाद्य यंत्रों ढोल- दमाऊं सहित बाबा तुंगनाथ के जय उद्घोष के साथ प्रथम पड़ाव चोपता को प्रस्थान किया.
बदरीनाथ-केदारनाथ मंदिर समिति (बीकेटीसी) अध्यक्ष अजेंद्र अजय ने तुंगनाथ मंदिर के कपाट बंद होने के अवसर पर श्रद्धालुओं को शुभकामनाएं दी. उन्होंने बताया कि इस यात्रा वर्ष एक लाख सत्तर हजार से अधिक तीर्थयात्रियों ने भगवान तुंगनाथ के दर्शन किए. बीकेटीसी मुख्य कार्याधिकारी विजय प्रसाद थपलियाल ने भी कपाट बंद होने पर श्रद्धालुओं को शुभकामनाएं दी.
कपाट बंद होने के एक दिन पहले श्री तुंगनाथ मंदिर में यज्ञ- हवन किया गया था. आज प्रात: साढ़े चार बजे मंदिर खुला. प्रातःकालीन पूजा के पश्चात श्रद्धालुओं ने भगवान तुंगनाथ जी के दर्शन किए. ठीक दस बजे मंदिर गर्भगृह में कपाट बंद करने की प्रक्रिया शुरू हुई. भगवान तुंगनाथ के स्वयंभू शिवलिंग को शृंगार रूप से समाधि स्वरूप में ले जाया गया. शिवलिंग को स्थानीय पुष्पों, फल पुष्पों , अक्षत से ढक दिया गया. इसके बाद मठापति रामप्रसाद मैठाणी,प्रबंधक बलबीर नेगी डोली प्रभारी प्रकाश पुरोहित,की उपस्थिति में पुजारी अतुल मैठाणी तथा अजय मैठाणी ने तुंगनाथ मंदिर के कपाट बंद किए.
कपाट बंद होने के बाद मंदिर समिति कर्मचारियों और श्रद्धालुओं के साथ मंदिर की परिक्रमा पश्चात अखोड़ी और हुडु गांव के हक-हकूकधारी भगवान तुंगनाथ की चल विग्रह डोली के साथ चोपता को प्रस्थान हुए.
बीकेटीसी मीडिया प्रभारी डॉ. हरीश गौड़ ने बताया कि आज भगवान तुंगनाथ की चल विग्रह डोली चोपता प्रवास करेगी. पांच नवंबर और 06 नवंबर को चल विग्रह डोली दूसरे पड़ाव भनकुन प्रवास करेगी. सात नवंबर को भगवान तुंगनाथ की चलविग्रह डोली शीतकालीन गद्दीस्थल श्री मर्केटेश्वर मंदिर मक्कूमठ में विराजमान हो जाएगी. इसी के साथ मर्केटेश्वर मंदिर मक्कूमठ में भगवान तुंगनाथ की शीतकालीन पूजाएं शुरू हो जाएंगी.
आज कपाट बंद होने के अवसर पर मठापति रामप्रसाद मैठाणी, प्रबंधक बलबीर नेगी,डोली प्रभारी प्रकाश पुरोहित सहित पुजारीगण रवीन्द्र मैठाणी, विनोद मैठाणी, चंद्रमोहन बजवाल,दिलवर नेगी, दीपक पंवार,जीतपाल भंडारी, उम्मेद थोर, नरेंद्र भंडारी एवं वन विभाग, पुलिस प्रशासन के प्रतिनिधि, दस्तूरधारी और बड़ी संख्या में श्रद्धालुजन मौजूद रहे.
हिन्दुस्थान समाचार