नई दिल्ली: भारतीय जनता पार्टी जॉर्ज सोरोस मामले में कांग्रेस पर लगातार हमलावर है. सोमवार को भाजपा ने आरोप लगाते हुए कांग्रेस से पूछा कि देश द्रोही जॉर्ज सोरोस का उनसे क्या रिश्ता है. सोमवार को भाजपा मुख्यालय में आयोजित प्रेसवार्ता में भाजपा के राष्ट्रीय प्रवक्ता डॉ. सुधांशु त्रिवेदी ने कहा कि फोरम फॉर डेमोक्रेटिक लीडर्स इन एशिया-पैसिफिक नामक (एफडीएलएपी) एक संगठन है, जिसकी स्थापना 1994 में एशिया-प्रशांत क्षेत्र में लोकतंत्र को बढ़ावा देने के मिशन के साथ की गई थी. इसके चार सह-अध्यक्ष हैं, जिनमें से एक राजीव गांधी फाउंडेशन की अध्यक्ष सोनिया गांधी सह-अध्यक्षों में से एक हैं. एशिया-प्रशांत में फोरम ऑफ डेमोक्रेटिक लीडर्स को दी जा रही वित्तीय सहायता जॉर्ज सोरोस फाउंडेशन के योगदान से है.
सोरोस वही व्यक्ति हैं जिन्होंने खुले तौर पर कहा है कि उन्होंने मोदी सरकार को अस्थिर करने के लिए 1 बिलियन डॉलर का निवेश किया है. विपक्ष इस मुद्दे पर चर्चा नहीं करना चाहता है. उन्होंने पूछा कि एशिया-प्रशांत में फोरम ऑफ डेमोक्रेटिक लीडर्स से कांग्रेस का क्या संबंध है? क्या एशिया-प्रशांत में फोरम ऑफ डेमोक्रेटिक लीडर्स में लिखी गई भारत विरोधी और पाकिस्तान समर्थक बातें आपकी (कांग्रेस) समझ से लिखी गई हैं? क्या कांग्रेस का देशद्रोहियों (जॉर्ज सोरोस) से कोई संबंध है?…”
भाजपा सांसद सुधांशु त्रिवेदी ने कहा कि 20 नवंबर को अमेरिका में एक रिपोर्ट जारी हुई. क्या यह महज संयोग है या कोई सुनियोजित भारत विरोधी अभियान? और अब इस भारत विरोधी अभियान की कड़ियां धीरे-धीरे सामने आ रही हैं. ठीक संसद के सत्र से पहले विदेशी एजेंसियों द्वारा भारत विरोधी रिपोर्ट जारी की जाती है. यह महज इत्तेफाक नहीं है, ऐसा पिछले तीन सालों से चल रहा है. एक और गंभीर मुद्दा सामने आया है. फोरम फॉर डेमोक्रेटिक लीडर्स इन एशिया-पैसिफिक नामक एक संगठन है, जो एक गैर-लाभकारी संगठन बताया जाता है, जिसकी स्थापना 1994 में एशिया-प्रशांत क्षेत्र में लोकतंत्र को बढ़ावा देने के मिशन के साथ की गई थी. इसके चार सह-अध्यक्ष हैं, जिनमें से एक सोनिया गांधी भी हैं. इसके बाद अदाणी वाला मुद्दा और भी गरमा गया है, यह देखना दिलचस्प होगा कि सरकार इस पर चर्चा करेगी या जॉर्ज सोरोस वाले मुद्दे को भुनाने में कामयाब होगी.
हिन्दुस्थान समाचार