पिथौरागढ़ जिले का सरमोली गांव देश का
सर्वश्रेष्ठ पर्यटन गांव घोषित हो चुका है। सरमोली गांव निवासी और सामुदायिक और
प्रकृति पर्यटन की गांव में नींव रखकर इसे मुकाम तक पहुंचाने वाली सरपंच मल्लिका
विर्दी को दिल्ली में आयोजित कार्यक्रम में पुरस्कार दिया गया। इस पुरस्कार के
मिलने से सरमोली गांव सहित पूरे जिले में खुशी व्याप्त है।
सरमोली गाँव में वर्ष 2004 में मल्लिका विर्दी
के मार्गदर्शन में सामुदायिक आधारित होम स्टे और प्रकृति कार्यक्रम शुरू किया गया
था। बतौर वन सरपंच उन्होंने जंगल और विशेष रूप से मेसर कुंड को पुनर्जीवित करने
में बेमिसाल काम किया।
यही नहीं, वर्ष 2007 से
मेसर वन कौतिक वन मेले के साथ-साथ हिमाल कलासूत्र एक प्रकृति और संस्कृति उत्सव
शुरू किया गया है। हिमाल कलासूत्र के दौरान, पक्षी उत्सव,
तितली
और कीट उत्सव, पारंपरिक भोजन उत्सव, डामो नगाड़ा ढोल
उत्सव, खलिया चैलेंज एक नवाचारी उच्च ऊँचाई मैराथन जैसे कार्यक्रम आयोजित
किये जाते हैं।
मल्लिका विर्दी दो बार (2004 से 2010 और 2017
से 2022) वन पंचायत की सरपंच रहीं हैं। उनकी देख रेख में प्रकृति पर्यटन को बढ़ावा
देने, जंगल और जल संरक्षण के प्रयासों को बढ़ाने का बेहतरीन काम हुआ।
यह उन महिलाओं के लिए गर्व की बात है जिन्होंने
पर्यटन और पर्यावरण संरक्षण की विशेष पहचान बनाने के लिए अथक मेहनत कर मुकाम तक
पहुंचाया। सरमोली गांव में वर्ष 2004 से रखी गई थी सामुदायिक पर्यटन की
नींव मुनस्यारी से लगा सरमोली गांव लगभग 22 -23 सौ मीटर की
ऊंचाई पर स्थित है।
मुनस्यारी में पर्यटकों की संख्या बढने लगी थी
और होटलों की संख्या सीमित थी। पर्यटकों को ठहरे के लिए दिक्कतें झेलनी पड़ती थी।
तब 2004 में मल्लिका विर्दी ने सरमोली गांव में होमस्टे बनाने का विचार
किया।