नई दिल्ली: विदेश मंत्रालय ने गुरुवार को कहा कि भारत विदेशी शक्तियों और सरकारों की भागीदारी सहित बांग्लादेश में हाल के घटनाक्रम के सभी पहलुओं का विश्लेषण कर रहा है. बांग्लादेश का घटनाक्रम बदल रहा है, भारत इस पर नजर रखे हुए है और अधिकारियों के साथ संपर्क बनाए हुए है.
#WATCH भारत द्वारा बांग्लादेश में किए गए निवेश की स्थिति पर विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता रणधीर जयसवाल ने कहा, “हम ढाका में अधिकारियों के साथ बातचीत कर रहे हैं। हमारे सामने एक उभरती हुई स्थिति है। बांग्लादेश के लोगों के एक करीबी दोस्त के रूप में, यह हमारी समझ है कि हम जल्द से जल्द… pic.twitter.com/O2lZBqoxqg
— ANI_HindiNews (@AHindinews) August 8, 2024
विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता रणधीर जायसवाल ने आज साप्ताहिक पत्रकार वार्ता में बांग्लादेश के संबंध में पूछे गए एक सवाल के उत्तर में यह बात कही. प्रवक्ता से अपदस्त प्रधानमंत्री शेख हसीना के पुत्र सजीब वाजेद के बयान के बारे में पूछा गया था. वाजेद ने बांग्लादेश में तख्तापलट में अमेरिका और पाकिस्तान की खुफिया एजेंसी आईएसआई की भूमिका का जिक्र किया है.
प्रवक्ता ने कहा कि बांग्लादेश में अंतरिम सरकार के शपथ ग्रहण समारोह में विदेशी राजनयिकों को आमंत्रित किया गया है. भारत की ओर से इसमें ढाका स्थित भारत के उच्चायुक्त शामिल होंगे. प्रवक्ता ने अंतरिम सरकार के संबंध में और कोई प्रतिक्रिया व्यक्त नहीं की. विभिन्न सवालों के उत्तर में विदेश मंत्री एस. जयशंकर द्वारा संसद में दिए बयान का बार-बार हवाला दिया. उन्होंने कहा कि हमारे लिए बांग्लादेश की अवाम का हित और कल्याण सर्वोपरि है.
प्रवक्ता ने बांग्लादेश के हालात पर कहा कि हर सरकार की जिम्मेदारी है कि वे अपने नागरिकों की सुरक्षा और कल्याण सुनिश्चित करे. भारत चाहता है कि बांग्लादेश में शीघ्र ही कानून-व्यवस्था बहाल हो. यह पड़ोसी देश ही नहीं बल्कि पूरे क्षेत्र के हित में है.
अपदस्त प्रधानमंत्री शेख हसीना को शरण देने अथवा उनके आगामी गंतव्य के बारे में प्रवक्ता ने कहा कि यह फैसला उन्हें स्वयं करना है. बांग्लादेश में हिन्दुओं सहित अल्पसंख्यकों पर हो रहे हमलों के बारे में प्रवक्ता ने कहा कि ऐसी रिपोर्ट है कि विभिन्न संगठन और समूह अल्पसंख्यकों की सुरक्षा के संबंध में उपाय कर रहे हैं. भारत अल्पसंख्यकों की दशा पर निगरानी रखे हुए है.
प्रवक्ता ने बताया कि भारतीय राजनयिक मिशनों में कार्यरत कर्मचारियों को गैर जरूरी कर्मचारी और परिवार के सदस्य भारत आ गए हैं. अन्य दूतावास ने भी ऐसा ही किया है. हमें आशा है कि स्थिति जल्द ही सामान्य होगी.
हिन्दुस्थान समाचार