Haridwar: बांग्लादेश में तख्तापलट के बाद हिंदुओं समेत अन्य अल्पसंख्यकों पर अत्याचार होने पर हरिद्वार के संत समाज ने चिंता जताई और प्रदर्शन कर अपना विरोध जताया. इस घटना के विरोध में शुक्रवार को हरिद्वार में साधु संतों ने संत आक्रोश रैली निकाली.साधु संतों ने केन्द्र सरकार और संयुक्त राष्ट्र संगठन से हस्तक्षेप करने की मांग की.
बांग्लादेश में हिंदुओं समेत अन्य अल्पसंख्यकों पर अत्याचार होने के विरोध में संत समाज ने हरिद्वार के उछाली आश्रम से एक आक्रोश रैली निकाली. यह रैली हरकी पैड़ी स्थित ब्रह्मकुंड पर संपन्न हुई. यहां संतों ने हिंसा में मारे गए लोगों की आत्मा की शांति लिए दो मिनट का मौन भी रखा. संतों का कहना है कि जिस तरह से बांग्लादेश में हिंदुओं पर लगातार हमले किए जा रहे हैं, उसे रोका जाना चाहिए. इसे लेकर भारत सरकार और संयुक्त राष्ट्र संगठन को इसमें हस्तक्षेप करने की मांग की ताकि हिंदुओं समेत अल्पसंख्यकों की रक्षा की जा सके. साधु संतों का कहना था कि बांग्लादेश में हिंदुओं की जो हालात है, उसे लेकर मन में काफी आक्रोश है.
संतों का कहना है कि आखिर हिंदू कब तक सहन करेगा. बांग्लादेश में यह सब रुकना चाहिए. कुछ संतों का कहना है कि बांग्लादेश के दो करोड़ हिंदुओं की रक्षा के लिए एक अलग से देश बनाया जाना चाहिए. जिन लोगों ने बांग्लादेश में हिंदुओं पर हमले किए हैं, उनके खिलाफ कानूनी कार्रवाई की जानी चाहिए. वहीं, संतों की रैली का हिंदू संगठन से जुड़े लोगों ने भी अपना समर्थन दिया. उन्होंने एक सुर में हिंदुओं की सुरक्षा करने की मांग उठाई.
इस दौरान अखिल भारतीय अखाड़ा परिषद के अध्यक्ष व श्री पंचायती अखाड़ा महानिर्वाणी के सचिव श्रीमहंत रविन्द्रपुरी महाराज, बाबा बलराम दास हठयोगी, महामण्डलेश्वर स्वामी रूपेन्द्र प्रकाश, म.म. हरिचेतनानंद, म.म. स्वामी प्रबोधानंद गिरि, म.म. स्वामी ललितांनद गिरि, कोठारी जसविन्दर सिंह, स्वामी ऋषिश्वरानंद और स्वामी देवानंद समेत तमाम संत मौजूद थे.
हिन्दुस्थान समाचार